Tuesday 20 January 2015

PV :किरण को घेरने के लिए आप की रणनीति, केजरीवाल नहीं विश्वास करेंगे हमले

किरण को घेरने के लिए आप की रणनीति, केजरीवाल नहीं विश्वास करेंगे हमले


नई दिल्ली. बीजेपी की सीएम कैंडिडेट किरण बेदी को घेरने के लिए आम आदमी पार्टी ने नई रणनीति बनाई है। इसके तहत, आम आदमी पार्टी संयोजक अरविंद केजरीवाल बेदी पर खुद सीधा हमला नहीं करेंगे, बल्कि यह जिम्मेदारी आप के ही एक अन्य बड़े नेता कुमार विश्वास को सौंपी गई है। वह जनता को यह समझाने की कोशिश करेंगे कि भाजपा की मुख्यमंत्री पद की प्रत्याशी बेदी आप संयोजक के कद की नहीं हैं। इसी के चलते उन्होंने नई दिल्ली सीट पर केजरीवाल को चुनौती नहीं दी। यदि भाजपा नेताओं या बेदी की ओर से कोई हमला केजरीवाल पर किया जाता है तो पार्टी के अन्य नेता उसका जवाब देंगे। पार्टी की नई रणनीति के मुताबिक, केजरीवाल को बेदी पर चुप रहना है और सिर्फ जनता से जुड़े मुद्दों पर बयान देने हैं।


बता दें कि बीजेपी ने किरण बेदी को कृष्णानगर सीट से उम्मीदवार बनाया है। कृष्णानगर केंद्रीय मंत्री हर्षवर्धन की सीट है, जहां से वे लगातार चुनाव जीतते रहे हैं। पार्टी कहेगी कि अगर किरण में केजरीवाल का मुकाबला करने की हिम्मत होती तो वह नई दिल्ली से चुनाव लड़तीं। केजरीवाल ने बीते साल इसी सीट पर दिल्ली की पूर्व सीएम शीला दीक्षित को हराया था। उधर, कुमार विश्वास ने मंगलवार को ट्वीट करके कहा, ''कभी गडकरी और सोनिया गांधी को बहस की चुनौती देनी वालीं किरन अब खुद क्यों बहस से बच रही हैं।'' बता दें कि जिस दिन किरण बेदी बीजेपी में शामिल हुईं, विश्वास ने ट्वीट करके उन्हें इशारे ही इशारों में 'जयचंद' करार दिया था। 
नेताओं के बीजेपी में जाने से खुश है आप 
आंतरिक सूत्रों की मानें तो आप को लगता है कि पार्टी के नेताओं के भाजपा में शामिल होने से उसे फायदा हुआ है। इसके कारण भाजपा में जहां भीतरी कलह बढ़ी है, वहीं आप में राजनीतिक कद हासिल करने के लिए शामिल हुए नेताओं से छुटकारा मिल गया है। नॉमिनेशन से पहले आप नेताओं की बैठक में यह तय किया गया कि पार्टी संयोजक केजरीवाल किसी भी हाल में बेदी पर हमला नहीं करेंगे। पार्टी को लगता है कि बेदी आप और केजरीवाल के कमजोर पहलुओं को जानती हैं और ऐसा करना उनके लिए भारी पड़ सकता है। 
आप को लगता है, डर गई बीजेपी 
आप पार्टी का मानना है कि दिल्ली को परम्परागत तौर पर मुख्यमंत्री नई दिल्ली सीट से ही मिलता है। ऐसे में बेदी को सेफ सीट से लड़ाया जाने के पीछे भाजपा का डर साफ है। आमतौर पर दिल्ली में मजबूत दावेदार सेफ सीट से नहीं लड़ते, बल्कि उस सीट से लड़ते हैं, जिसमें वह विपक्षी पार्टी को चुनौती देते हैं। पार्टी सूत्रों के मुताबिक केजरीवाल को पार्टी के अन्य नेताओं ने भी बेदी पर सीधे तौर पर हमला नहीं करने की सलाह दी है। लेकिन भाजपा की मुख्यमंत्री पद की उम्मीदवार के खिलाफ कोई खुलासा किए जाने की सुगबुगाहट जरूर है, जिसकी जिम्मेदारी विश्वास को सौंपी गई है और मतदान से पहले वह इसे अंजाम देंगे।

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